क्रिप्टो करेंसी क्या है /Top 10 Cryptocurrency|What Is Cryptocurrency In Hindi

क्रिप्टो करेंसी दो शब्दों से मिलकर बना है| पहला शब्द है क्रिप्टो, जो एक लैटिन शब्द है, जिसका अर्थ है छुपा हुआ तथा दूसरा शब्द है करेंसी, इसका मतलब होता है मुद्रा | क्रिप्टो करेंसी क्या है ? क्रिप्टो करेंसी का अर्थ हुआ छुपा हुआ मुद्रा या फिर छुपा हुआ पैसा अर्थात डिजिटल मनी| डिजिटल मनी या क्रिप्टो करेंसी एक ऐसा करेंसी है जिसे हम न देख सकते हैं न छू सकते हैं अपने पास ही रख सकते हैं परंतु इसे हम लेनदेन में व्यवहार कर दे सकते हैं|

आजकल हर किसी के जुबान पर क्रिप्टो करेंसी के चर्चे है| हर कोई यह जानना चाहता है कि क्रिप्टो करेंसी क्या है ? यह कैसे काम करता है ? तो आइए इस आर्टिकल के के माध्यम से क्रिप्टो करेंसी के बारे में जानते हैं.

क्रिप्टो करेंसी क्या है

क्रिप्टोकरंसी एक तरह का डिजिटल या वर्चुअल करेंसी है | जिसका लेनदेन करके हम किसी प्रोडक्ट या सर्विस को खरीद सकते हैं | इस करेंसी को हम फिजिकली महसूस नहीं कर सकते हैं अर्थात न तो इसे हम छू सकते हैं, ना देख सकते हैं| यह हमारे कंप्यूटर या मोबाइल के Wallet में रहता है. लेन-देन के प्रक्रिया में क्रिप्टोकरंसी की एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति के पास डिजिटल फॉर्म में ही जाता है.

क्या क्रिप्टो करेंसी सुरक्षित है

अब प्रश्न यह है कि क्या क्रिप्टो करेंसी सुरक्षित है? क्या क्या हम क्रिप्टो करेंसी में इन्वेस्ट कर सकते हैं? क्या कोई नकली क्रिप्टो करेंसी बनाकर धोखाधड़ी कर सकता है ? आइए इन प्रश्नों का उत्तर समझने की कोशिश करते हैं.

क्रिप्टो करेंसी ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी पर आधारित एक ऐसी वर्चुअल करेंसी है, जिसे क्रिप्टोग्राफिक टेक्निक के द्वारा सुरक्षित किया जाता है| इन करेंसी का हर लेन-देन डिजिटल सिग्नेचर के द्वारा वेरीफाई किया जाता है| इसके बाद उस करेंसी के लेन देन का विवरण को इंटरनेट से जुड़े हुए विभिन्न जगहों पर स्थित कंप्यूटरों में एक साथ दर्ज किया जाता है| हर करेंसी से संबंधित जानकारी कई सारे कंप्यूटर पर दर्ज किए जाते हैं|

अगर कोई व्यक्ति किसी एक कंप्यूटर पर कोई गड़बड़ी करता है| तो बाकी के अन्य कंप्यूटर पर दर्ज विवरण से वह मेल नहीं खाता है| जिससे उस गड़बड़ी को आसानी से पकड़ा जा सकता है| इस प्रकार क्रिप्टो करेंसी काफी सुरक्षित है| नकली करेंसी बनाकर फ्रॉड करना लगभग असंभव है|

क्रिप्टो करेंसी सबसे पहले किसने और कब बनाई

31 अक्टूबर 2008 को Nakamoto Satoshi के द्वारा एक पेपर पब्लिश किया गया था ” Bitcoin: A Peer-to-Peer Electronic Cash System”. इस पेपर में उन्होंने क्रिप्टो करेंसी का खाका खींचा था| उसके बाद नाकामोतो सतोशी का नाम का उपयोग कर कुछ अनजान व्यक्तियों के ग्रुप के द्वारा 18 अगस्त 2009 को Bitcoin.org नाम का डोमेन की स्थापना कर क्रिप्टो करेंसी का अविष्कार किया गया| इस तरह से 2009 में पहला क्रिप्टो करेंसी Bitcoin से प्रारंभ हुआ|

क्रिप्टो करेंसी को कौन कंट्रोल करता है

जिस तरह से किसी भी देश का करेंसी को कंट्रोल करने के लिए एक सेंट्रल एजेंसी होता है| ठीक इसके विपरीत क्रिप्टो करेंसी को मेंटेन करने के लिए कोई भी सेंट्रल एजेंसी नहीं होता है| इस तरह की करेंसी पर किसी का कोई कंट्रोल नहीं होता है| क्रिप्टो करेंसी ट्रेडिशनल बैंकिंग सिस्टम को फॉलो नहीं करता है| यह एक कंप्यूटर वॉलेट से दूसरे कंप्यूटर वॉलेट में ट्रांसफर होते रहता है|

क्रिप्टो करेंसी कितने प्रकार के होते हैं

डिजिटल मार्केट में 5000 से भी ज्यादा क्रिप्टो करेंसी उपलब्ध है| इनमें से Top 10 Cryptocurrency है:

Cryptocurrency

Bitcoin
CODE

BTC
Market Value in Billion

925.09
EthereumETH425.34
Binance CoinBNB92.3
TetherUSDT75.59
SolanaSOL59.38
CardanoADA45.15
USD CoinUSDC40.82
XRPXRP37.470
PolkadotDOT27.22
TerraLUNA24.98
Cryptocurrency: Source-https://coinmarketcap.com

क्रिप्टो करेंसी कैसे काम करता है

जैसा कि हमने देखा किक्रेट को करेंसी एक वर्चुअल करेंसी है| जिसे ब्लॉकचेन टेक्नॉलॉजी के माध्यम से मेंटेन किया जाता है कथा क्रिप्टोग्राफी के द्वारा सुरक्षित रखा जाता है| अब हम यहां पर समझने की कोशिश करते हैं कि ब्लाकचैन आखिर है क्या|

क्रिप्टो करेंसी के लेनदेन का विवरण को बहुत सारे कंप्यूटर जो कि अलग-अलग जगहों रहते हुए आपस में Peer-to-peer network के द्वारा जुड़े रहते हैं, में दर्ज रहता है| क्रिप्टो करेंसी का लेजर (विवरण) किसी एक व्यक्ति(Computer) के बजाएं बहुत सारे लोगों(Computer) के द्वारा मेंटेन किया जाता है| अर्थात इसके विवरण को डिसेंट्रलाइज तरीके से मेंटेन किया जाता है| यह सब कुछ ब्लॉकचेन टेक्नॉलॉजी के मदद से किया जाता है|

मान लीजिए किसी व्यक्ति के पास 10 बिटकॉइन है| अगर वह व्यक्ति किसी दूसरे को दो बिटकॉइन देता है| तो इस ट्रांजैक्शन के दौरान सभी कंप्यूटर इसको अपनी लेजर में वेरीफाई करते हैं कि क्या पहले व्यक्ति के पास 10 बिटकॉइन था? दूसरे व्यक्ति के पास दो बिटकॉइन मिलने के बाद कितने बिटकॉइन होंगे इत्यादि| जब सभी कंप्यूटर का विवरण मेल खाता है| तभी यह ट्रांजैक्शन सही माना जाता है| इस प्रकार से कोई भी व्यक्ति एक कंप्यूटर में गड़बड़ी कर सकता है लेकिन सभी ने नहीं| यही ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी है.

जो व्यक्ति या जो कंप्यूटर इन प्रक्रिया को करते हैं| जो इन सारे लेनदेन के विवरण को दर्ज करते हैं, वेरीफाई करते हैं, देखरेख करते हैं, उसे Miners कहा जाता है|

क्रिप्टो करेंसी के लेनदेन के विवरण को लेजर में दर्ज करने तथा वैलिडेट करने की प्रक्रिया को Minning कहते हैं| हालांकि यह सारे लेनदेन के विवरण को या वैलिडेशन के प्रक्रिया को कोई व्यक्ति के द्वारा दर्ज नहीं किया जाता है| सब कुछ ऑटोमेटेड होता है| यह सब कुछ ही सेकंड में सॉफ्टवेयर के द्वारा किया जाता है|

इन सारी प्रक्रिया को करने में Miners जो टाइम और मेहनत लगाते हैं | उनके बदले उसे इसी करेंसी में उनको कमीशन दिया जाता है|

क्या क्रिप्टो करेंसी गोपनीय है

ऊपर हम यह बात कर चुके है कि, क्रिप्टो करेंसी के विवरण को मल्टीपल कंप्यूटर में एक साथ दर्ज किया जाता है | अब यहां पर प्रश्न यह है कि, क्या हमारा जो क्रिप्टोकरंसी है वह गोपनीय है ? प्रश्न यह है कि जब एक साथ बहुत सारे कंप्यूटर में क्रिप्टो करेंसी के लेन देन को दर्ज किया जाता है | तब तो किसी को भी पता चल सकता है कि, हमारे पास कितना क्रिप्टो करेंसी है|

परंतु नहीं, ऐसा नहीं है| किसके पास कितना क्रिप्टो करेंसी है| इसकी जानकारी किसी को भी नहीं चलता है| क्योंकि क्रिप्टो करेंसी को क्रिप्टोग्राफी टेक्निक के द्वारा गुप्त रखा जाता है| क्रिप्टोग्राफी एक प्रकार का सीक्रेट कोडिंग टेक्निक है| जिसमें सब कुछ एक सीक्रेट कोड में होता है| इस कोड को सिर्फ उस व्यक्ति के द्वारा ही खोला जा सकता है| कर्क राशि क्या है जिसका वह क्रिप्टो करेंसी होता है| इस प्रकार यह पूर्णत: गोपनीय होता है|

इसका पूर्णत: कंट्रोल हमारे हाथों में होता है| कितना करेंसी हमारे पास है| यह सिर्फ हमें ही पता होता है| अगर हम बैंक में पैसा रखते हैं, तो इसके बारे में बैंक को पता होता है| बैंक में काम कर रहे कर्मचारियों को पता होता है| सरकार को पता होता है| परंतु क्रिप्टो करेंसी में ऐसा कुछ नहीं है|

क्रिप्टो करेंसी के रेट में उतार-चढ़ाव क्यों होता है

इस करेंसी में किसी सेंट्रल एजेंसी का कोई भूमिका नहीं होती है | यह किसी सरकार के द्वारा या कोई सेंट्रल अथॉरिटी के द्वारा रेगुलेट नहीं होता है| अब यहां पर प्रश्न यह है कि जब जब इसे किसी सेंट्रल अथॉरिटी के द्वारा रेगुलेट नहीं किया जाता है, तो फिर इसका प्राइस का डिसीजन कैसे होता है| इसका रेट कैसे घटता बढ़ता है| तो आइए इस बात को समझते हैं कि, क्रिप्टोकरंसी के रेट में उतार-चढ़ाव कैसे होता है?

किसी भी क्रिप्टो करेंसी में यह पहले से फिक्स होता है कि, कुल कितने क्रिप्टो करेंसी का उत्पादन होगा| अर्थात हर क्रिप्टो करेंसी कि मात्रा को पहले से निश्चित कर लिया जाता है| जब किसी चीज का मात्रा निश्चित हो जाता है| तब उसका मूल्य उसकी मांग पर निर्भर करता है| जब मांग बढ़ता है, तब उसके मूल्य बढ़ जाती है तथा जब मान घटता है तो उसका मूल्य घट जाती है|

अगर हम एक क्रिप्टो करेंसी बिटकॉइन का उदाहरण लेते हैं| कुल 21 million बिटकॉइन उपलब्ध है| जब ज्यादा लोग बिटकॉइन खरीदने लगते हैं| तो इसकी कीमत बढ़ जाती है| 2010 में बिटकॉइन ₹20 का था| इसकी कीमत बढ़ते बढ़ते 45 लाख रुपए तक पहुंच गए थे| अभी फिलहाल इसका कीमत 30 लाख के आस पास है| अगर आपने 2010 में बिटकॉइन में ₹100 का का निवेश किया होता तो आज उसका कीमत 1.5 करोड़ से ज्यादा होता है|

क्रिप्टो करेंसी के फायदे

  • क्रिप्टो करेंसी का सबसे बड़ा फायदा यह है कि यह डिसेंट्रलाइज्ड है| अर्थात इस पर किसी भी कंट्री का, कोई भी सेंट्रल अथॉरिटी का,किसी ऑर्गेनाइजेशन का या फिर किसी एक व्यक्ति का कंट्रोल नहीं होता है|
  • क्योंकि यह किसी खास देश के द्वारा कंट्रोल्ड नहीं है| इसलिए यह किसी देश के महंगाई, किसी देश का उथल-पुथल होने से या फिर किसी अन्य कारण से इस पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता है|
  • आम करेंसी का कंट्रोल उस देश के सरकार के हाथों में होता है | सरकार जब चाहे जितनी चाहे उतनी करेंसी छाप सकता है| जिससे महंगाई घटता है या बढ़ता है | परंतु क्रिप्टोकरंसी का मात्रा निश्चित होता है| उदाहरण के लिए बिटकॉइन की मात्रा 21million निश्चित है|
  • क्रिप्टो करेंसी एक बहुत ही सुरक्षित करेंसी है| नकली करेंसी बनाकर धोखाधड़ी करना लगभग असंभव है|

क्रिप्टो करेंसी के नुकसान

  • क्योंकि क्रिप्टो करेंसी पर किसी भी सरकार या किसी भी सेंट्रल अथॉरिटी का कोई कंट्रोल नहीं है | इस स्थिति में अगर कोई समस्या उत्पन्न होती है, तो इस समस्या के समाधान के लिए कोई सहायता करने वाला नहीं है|
  • क्रिप्टोकरंसी एक गोपनीय करेंसी है | इसलिए इस करेंसी का उपयोग लोग अनुचित कामों में कर सकते हैं|
  • क्रिप्टो करेंसी के माइनिंग प्रोसेस में बहुत सारे कंप्यूटर काम करते हैं | इसमें बहुत सारी ऊर्जा तथा अन्य रिसोर्स की जरूरत होती है| यह इको फ्रेंडली नहीं होता है |

क्या क्रिप्टो करेंसी इंडिया में लीगल है

लाख टके की यह बात की क्या क्रिप्टो करेंसी इंडिया में लीगल है? क्या हम क्रिप्टो करेंसी का खरीद-फरोख्त कर सकते हैं? क्या हम क्रिप्टो करेंसी से कोई उत्पाद अथवा सर्विस को खरीद सकते हैं? तो आइए इन प्रश्नों को हम समझते हैं|

भारत में क्रिप्टो करेंसी प्रतिबंधित था| परंतु सुप्रीम कोर्ट के सलाह पर रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने मार्च 2020 से बिटकॉइन पर से प्रतिबंध को हटा दिया| अब कोई भी लीगल तरीके से इसमें इन्वेस्ट कर सकता है| अर्थात अब भारत में क्रिप्टो करेंसी में इन्वेस्ट करना लीगल है| हम क्रिप्टो करेंसी को खरीद और बेच सकते हैं|

परंतु हम इसको इंडियन करेंसी रूपए की जगह उपयोग में नहीं ला सकते हैं | अर्थात बिटकॉइन को उपयोग कर किसी भी उत्पाद तथा सर्विसेज को खरीदने में नहीं सकते हैं | हालांकि कुछ अन्य देश में क्रिप्टो करेंसी में लेनदेन मान्य हो चुका है | कुछ इंटरनेशनल कंपनियां क्रिप्टो करेंसी को पेमेंट के रूप में एक्सेप्ट करने लगी है|

क्रिप्टो करेंसी में इन्वेस्ट कैसे करें

क्रिप्टोकरेंसी में इन्वेस्ट करने के लिए बहुत सारे ऑनलाइन ऐप उपलब्ध है | जिसमें आप रजिस्टर कर अपना केवाईसी करा कर इन्वेस्ट कर सकते हैं. इनमें से कुछ मोबाइल ऐप इस प्रकार है:-

  1. WazirX
  2. Unocoin
  3. Coin DCX
  4. ZEBPlay
  5. Bitbns
  6. CoinSwiich Kuber
क्रिप्टोकरेंसी किस देश में लीगल है

अल सल्वाडोर में क्रिप्टो करेंसी लीगल है| अल सल्वाडोर की सरकार ने जून 2021 में बिटकॉइन को लीगल करेंसी बनाया है|

क्या क्रिप्टो करेंसी अनुचित उपयोग किया जाता है

हां क्रिप्टो करेंसी का उपयोग अनुचित तरह से किया जाता है| क्योंकि क्रिप्टो करेंसी में कोई भी कंट्रोलिंग अथॉरिटी नहीं होता है| इसलिए यह जानना बहुत ही मुश्किल होता है कि कोई भी लेन-देन किनके बीच हुआ| क्रिप्टो करेंसी का अनुचित उपयोग मनी लांड्रिंग, साइबर क्राइम, आतंकवाद इत्यादि ने किया जा सकता है|

क्रिप्टो करेंसी कैसे खरीदें

क्रिप्टो करेंसी खरीदने के लिए बहुत सारे क्रिप्टो एक्सचेंज उपलब्ध जो मोबाइल एप के द्वारा क्रिप्टो करेंसी का खरीद-फरोख्त करवाती है|

क्रिप्टो करेंसी एक्सचेंज क्या होता है

जिस प्लेटफार्म के द्वारा अर्थात वेबसाइट या मोबाइल ऐप जिसके द्वारा क्रिप्टो करेंसी खरीद-फरोख्त किया जाता है, उसे क्रिप्टो करेंसी एक्सचेंज कहा जाता है.

इस लेख के माध्यम से आपको. क्रिप्टो करेंसी क्या है? यह कैसे काम करता है? यह कितने प्रकार का है ? इत्यादि प्रश्नों का जवाब मिल गया होगा | मगर इसके अलावा कोई अन्य प्रश्न आपके मन में अनुत्तरित रह गया हो तो, कमेंट बॉक्स में जरूर लिखें|

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